Shan e Ramzan Lyrics Hindi
रह़मते किब्रिया बहरे खल्क़-ए-ख़ुदा
बन के इक आसरा आ गया, आ गया
बाब-ए-रह़मत खुला, देख उसकी अत़ा
लब पे हर्फ़-ए-दुआ आ गया, आ गया
क्या कहें, क्या अत़ा हो गया है हमें
माह-ए-जूदो सख़ा जो मिला है हमें
पूरी होने को है दिल की हर आरज़ू
अल्लाह हू, अल्लाह हू, अल्लाह हू
शान-ए-रमज़ां आया चार सू
माहे रमज़ान यूं आ गया
बन के रह़मत ये फिर छा गया
कैसे तुझसे करूँ सामना
गिर रहा हूँ ज़रा थामना
क्या है दामन में इसके सिवा
हम्द-ओ-नात और इ़श्क़-ए-ख़ुदा
और शफ़ाअत-ए-ख़ैरूलवरा
तुझसे मांगेंगे रोज़-ए-जज़ा
बस झुका है ये सर और क्या मांगना
बन्दा परवर है तू बस ज़रा देखना
तेरी मर्ज़ी को पाना मेरी जुस्तजू
अल्लाह हू, अल्लाह हू, अल्लाह हू
शान-ए-रमज़ां आया चार सू
अपने बन्दों को वो दे रहा है निदा
ना ही वो दूर है ना ही हम से जुदा
यानी हर गाम पर सुन रहा है सदा
अल्लाह, अल्लाह, अल्लाह
जा के दो ये ख़बर आसियों को ज़रा
आओ मिल बांट के बांट लो हर खुशी
हां ये ही है इबादत ये ही बन्दगी
शान-ए-रमज़ान है दिलकश-ओ-खूब-रु
अल्लाह हू, अल्लाह हू, अल्लाह हू
शान-ए-रमज़ां आया चार सू
शान-ए-रमज़ान, शान-ए-रमज़ान
शान-ए-रमज़ान, शान-ए-रमज़ान
Singer: Waseem Badami, Junaid Jamshed & Amjad Sabri
Shan e Ramzan Lyrics
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