उनकी आँखों से मस्ती बरसती रहे लिरिक्स

उनकी आँखों से मस्ती बरसती रहे लिरिक्स

Unki Aankhon Se Masti Barsati Rahe Lyrics in Hindi

 

कव्वाल : अज़ीज़ मियां


اُردو میں پڑھئیے

Read Lyrics in English


मज़ा बरसात का चाहो मेरी आंखो में आ बैठो
सफेदी है, स्याही है, शफ़क़ है, अब्र ए बारां है

मज़ा बरसात का चाहो मेरी आंखो में आ बैठो
वह बरसों में कहीं बरसे यह बरसों से बरसती है

 

उनकी आँखों से मस्ती बरसती रहे

 

उनकी आँखों से मस्ती बरसती रहे
होश उड़ते रहें दौर चलता रहे

उनकी आँखों .. आँखों से..

 

उनकी आंखों में पिनहा इश्क का अंजाम है

उनकी आँखों .. आँखों से..

 

उनकी आँखों से मस्ती बरसती रहे
होश उड़ते रहें दौर चलता रहे

रक्स-ए-तौबा करे जाम-ए-बिल्लौर में
रिंद पीते रहें शैख जलता रहे

 

इश्क में ज़िंदगी का मज़ा है यही
आशिक़ ए ज़ार पहलु बदलता रहे

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें
याद आते रहो दिल बहलता रहे

 

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें ..

 

महीने वस्ल के तो गुज़र जाते हैं घड़ियों में
मगर घड़ियां जुदाई की गुज़रती हैं महीनों में

 

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें
याद आते रहो दिल बहलता रहे ……..

 

रोएंगे देखकर वोह बिस्तर की हर शिकन को
वोह बाब लिख चला हूं करवट बदल बदल कर

 

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें
याद आते रहो दिल बहलता रहे ……..

 

तड़पते मुझे रात भर हो गई
चले आओ अब तो सहर हो गई

 

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें
याद आते रहो दिल बहलता रहे ……..

 

बस अब छुपने को है तारे अगर आते तो आ जाते
अगर वोह दरमियां वाले न भटकाते तो आ जाते

 

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें
याद आते रहो दिल बहलता रहे ……..

 

बस अब छुपने को है तारे अगर आते तो आ जाते
अगर वोह दरमियां वाले न भटकाते तो आ जाते

बसर होती हैं उनकी ऐश में रातें वोह क्यों आएं
अगर फुरकत के सन्नाटों से घबराते तो आ जाते

कहा जब मैंने उनसे, वोह कहां हैं आप की कसमें
तो फरमाया अगर सच्ची क़सम खाते तो आ जाते

 

यूँ ही घड़ियाँ शब-ए-ग़म की कटती रहें
याद आते रहो दिल बहलता रहे ……..

 

ज़िंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..
ज़िंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..

 

तेरे करम से मेरी सलामत है जिंदगी
तेरा करम ना हो तो क़यामत है जिंदगी

ज़िंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..
ज़िंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..

 

ले ले के तेरा नाम जिए जा रहा हूं मैं
सच पूछिए तो तेरी बदौलत है जिंदगी

ज़िंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..
ज़िंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..

 

बदल के रख दिया उन्वान ए जिंदगी मैंने
पहन लिया है लिबास ए कलंदरी मैंने

जिंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..
जिंदगी है हमारी तुम्हारा करम ..

 

जिंदगी है हमारी तुम्हारा करम
तुम रहो मेहरबां तो नहीं कोई ग़म

हमसे बदलो न तुम, तुम से बदलें न हम
रोज़, चाहें ज़माना बदलता रहे

 

तुम मेरे सामने आओ तो इस तरह ..
तुम मेरे सामने आओ तो इस तरह ..

 

आशिक़ को देखते हैं दुपट्टे को तानकर
देते हैं हमको शरबत ए दीदार छानकर

तुम मेरे सामने आओ तो इस तरह ..
तुम मेरे सामने आओ तो इस तरह ..

 

तुम मेरे सामने आओ तो इस तरह
तेरा पर्दा रहे मुझको दीदार हो

आप बन-बन के चिलमन में बैठा करें
हुस्न छन छन के बहार निकलता रहे

 

बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..
बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..

 

वो न आएंगे कभी देख के काले बादल
दो घड़ी के लिए अल्लाह हटा ले बादल

बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..
बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..

 

ऐ अब्रे करम जरा थम के बरस
इतना ना बरस कि वह आ न सकें
वो आ जाएं तो जम के बरस
और इतना बरस कि वह जा न सकें

बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..
बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..

 

ये काली घटाएं ये काफिर हवाएं
चली आयीं तन्हा उन्हें भी तो लाएं

बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..
बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..

 

घटाएं झूम कर आई तो हैं सहन ए गुलिस्तां में
कहीं पानी न पड़ जाए तुम्हारे अहद ओ पैमा पर

बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..
बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा ..

 

बाद मुद्दत के उट्ठी है काली घटा
मैकशों को पिला और पैहम पिला

मैकदा तेरा साक़ी सलामत रहे
आज तो जाम पर जाम चलता रहे

  • Comment में राय दीजिए
  • Share कीजिए

Hindi And English lyrics

Naat-E-Paak|

Khalid Mahmud ‘Khalid’ Ajmal Sultanpuri Naat  | Ala Hazrat Naat | Akhtar Raza Khan| Raaz Ilaahabadi | Muhammad Ilyas Attari | Sayyad Nazmi Miyan

 

Qawwali |

Sabri Brothers | Nusrat Fateh Ali Khan | Rahat Fateh Ali Khan | Iqbal Afzal Sabri | Aziz Miyañ |Nazir Ejaz Faridi |  Ghous Muhammad Nasir | Maulvi Ahmad Hasan |

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *